मस्ती भरा मौसम और रंगीं नज़ारे

हिमाचल की हरियाली: शिमला, मनाली, और धर्मशाला

हिमाचल प्रदेश जुलाई में मानसून की बारिश से और खूबसूरत हो जाता है। शिमला में मॉल रोड पर बारिश की बूंदों के साथ सैर, क्राइस्ट चर्च का नजारा, और आसपास के जंगलों में हल्की ट्रेकिंग का मजा लें। तापमान 15-22 डिग्री के बीच रहता है, और बारिश से धुले हरे-भरे पहाड़ मन को तरोताजा कर देते हैं। मनाली में सोलंग वैली की हरियाली, ब्यास नदी के किनारे सुकून, और हिडिम्बा मंदिर की शांति आपकी यात्रा को खास बना देगी। अगर बारिश कम हो, तो रोहतांग पास की सैर भी कर सकते हैं। धर्मशाला और मैक्लोडगंज जुलाई में बौद्ध संस्कृति और प्रकृति का शानदार मेल दिखाते हैं। त्रिउंड ट्रेक बारिश में थोड़ा चुनौतीपूर्ण हो सकता है, लेकिन हरे-भरे जंगल और बादलों के बीच का नजारा इसके लायक है। यहां के लोकल मोमोज और तिब्बती थुकपा बारिश के मौसम में गर्मागर्म स्वाद देते हैं।
उत्तराखंड का जादू: मसूरी, औली, और रानीखेत

उत्तराखंड जुलाई में मानसून की फुहारों से सजा होता है। मसूरी में कैम्पटी फॉल्स की रौनक बढ़ जाती है, और बारिश में भीगते हुए गन हिल से हिमालय का नजारा देखना खास अनुभव है। तापमान 18-25 डिग्री के बीच रहता है, जो लंबी सैर और नेचर वॉक के लिए सही है। औली स्कीइंग के लिए सर्दियों में मशहूर है, लेकिन जुलाई में इसके हरे-भरे ढलान और ठंडी हवाएं ट्रेकिंग और कैंपिंग के लिए बेस्ट हैं। रानीखेत उन लोगों के लिए परफेक्ट है जो भीड़ से दूर शांति चाहते हैं। यहां के गोल्फ कोर्स और झरने मानसून में और खूबसूरत हो जाते हैं। बारिश के बाद साफ आसमान में हिमालय की चोटियां देखना किसी जादू से कम नहीं।
पूर्वोत्तर का रत्न: मेघालय और सिक्किम

जुलाई में पूर्वोत्तर भारत मानसून की बारिश से और निखर जाता है। मेघालय, जिसे ‘बादलों का घर’ कहते हैं, जुलाई में अपनी पूरी खूबसूरती दिखाता है। शिलॉन्ग और चेरापूंजी में झरने, जैसे नोहकलिकाई और एलिफेंट फॉल्स, मानसून में पूरे शबाब पर होते हैं। लिविंग रूट ब्रिज की सैर और मावलिननॉन्ग (एशिया का सबसे साफ गांव) की हरियाली आपका मन मोह लेगी। तापमान 18-25 डिग्री के बीच रहता है, और बारिश का मजा लेने के लिए रेनकोट साथ रखें। सिक्किम का गंगटोक जुलाई में फूलों और हरियाली से सजा होता है। त्सोमगो झील और रुमटेक मठ की सैर बारिश में और भी रोमांटिक लगती है। अगर आप ट्रेकिंग के शौकीन हैं, तो द्ज़ोंगरी ट्रेक का मजा ले सकते हैं, लेकिन बारिश की वजह से अच्छे गाइड और सावधानी जरूरी है।
तटीय सुकून: गोवा और केरल
मानसून में गोवा एक अलग ही रंग दिखाता है। जुलाई में समुद्र तटों पर भीड़ कम होती है, और बारिश की फुहारें बीच को और खूबसूरत बनाती हैं। बागा और अंजुना बीच पर मानसून की लहरों का मजा, डुड्सागर फॉल्स की रौनक, और गोवा के मसालेदार सीफूड का स्वाद आपकी यात्रा को यादगार बना देगा। लोकल फेनी और बारिश का कॉम्बिनेशन भी ट्राई करें! केरल का मुन्नार जुलाई में चाय के बागानों, झरनों, और ठंडी हवाओं के लिए बेस्ट है। तापमान 20-25 डिग्री के बीच रहता है, और मानसून की बारिश हरियाली को और निखार देती है। अल्लेप्पी के बैकवाटर्स में हाउसबोट की सैर और कोवलम बीच पर बारिश का मजा लेना न भूलें। केरल की मसालेदार फिश करी और अप्पम बारिश में गर्मागर्म खाने का मजा दोगुना कर देते हैं।
लोकल फेस्टिवल्स: रंग और रौनक
जुलाई में भारत में कई फेस्टिवल्स मानसून की रौनक को दोगुना कर देते हैं। गोवा में साओ जोआओ फेस्टिवल स्थानीय संस्कृति और उत्साह की झलक दिखाते हैं। मेघालय में बेईदिनख्लाम फेस्टिवल खासी संस्कृति को सेलिब्रेट करता है, जिसमें नाच-गाना और रंग-बिरंगे जुलूस शामिल हैं। इन मेलों में लोकल खाना, हस्तशिल्प, और पारंपरिक प्रदर्शन आपका मन मोह लेंगे।
खाने का जायका

जुलाई में इन जगहों पर स्थानीय खाने का मजा लेना न भूलें। हिमाचल में सिद्दू और चना मद्रा, उत्तराखंड में काफुली और भट्ट की चुरकानी, मेघालय में जादोह और पुखलिन, और केरल में अप्पम के साथ फिश करी बारिश के मौसम में गर्मागर्म स्वाद देते हैं। सिक्किम के मोमोज और थुकपा भी जरूर ट्राई करें। लोकल चाय और कॉफी, खासकर मुन्नार और शिलॉन्ग में, मानसून की ठंडक में गर्माहट देती है।
ये टिप्स आएंगे काम
- पहाड़ों के लिए: रेनकोट, वाटरप्रूफ शूज, और हल्के गर्म कपड़े साथ रखें। जुलाई में बारिश की वजह से ट्रेकिंग में सावधानी बरतें।
- तटीय इलाकों के लिए: छाता, हल्के कॉटन कपड़े, और सनस्क्रीन जरूरी हैं, क्योंकि उमस थोड़ी परेशान कर सकती है।
- बुकिंग: मानसून में कुछ रास्ते बंद हो सकते हैं, इसलिए ट्रैवल प्लान और होटल पहले से बुक करें। लोकल ट्रांसपोर्ट की जानकारी भी रखें।
- हाइड्रेशन: बारिश में भी खूब पानी पिएं और लोकल फ्रेश जूस या नारियल पानी का मजा लें।
आपके पसंद की अन्य पोस्ट

गोवा या लक्षद्वीप: बजट में घूमने के लिए क्या है बेहतर?
लक्षद्वीप की कुदरती खूबसूरती लाजवाब है, लेकिन वहां पहुंचना, रहना और घूमना थोड़ा महंगा पड़ सकता है।

मॉनसून में ख़ूबसूरती की मिसाल बन जाती है गोवा की यह जगह
ऑफ सीजन होने की वजह से होटल्स भी काफी सस्ते मिल जाते हैं।